12 मार्च, 2011
चेन्नई। केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) ने 2जी स्पेक्ट्रम आवंटन मामले में शुक्रवार को तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एम. करुणानिधि की बेटी कनिमोझी और उनकी दूसरी पत्नी दयालु अम्माल से करीब तीन घंटे तक पूछताछ की।
राज्यसभा की सदस्य कनिमोझी ने कहा कि कलैगनार टीवी को दी गई राशि के मामले में सीबीआई ने उनसे और उनकी मां से पूछताछ की। उन्होंने कहा कि दोनों ने अधिकारियों का पूरा सहयोग किया।
उन्होंने कहा, "जांच एजेंसी जो सवाल पूछना चाहती है हम उसके प्रत्येक सवाल का जवाब दे रहे हैं। हम सहयोग कर रहे हैं जबकि अन्य दलों के कई नेता सहयोग नहीं करते हैं।"
कनिमोझी ने कहा कि स्पेक्ट्रम घोटाले के सम्बंध में द्रविड़ मुनेत्र कड़गम (डीएमके)ने कभी भी केंद्र सरकार पर दबाव नहीं बनाया है। इस मामले में डीएमके सांसद और पूर्व केंद्रीय दूरसंचार मंत्री ए. राजा को गिरफ्तार होना पड़ा।
उन्होंने कहा, "हमें पता है कि इस मामले की निगरानी सर्वोच्च न्यायालय कर रहा है।"
सीबीआई के अधिकारियों ने द्रविड़ मुनेत्र कड़गम (डीएमके) मुख्यालय के शीर्ष तल पर स्थित कलैगनार टीवी के कार्यालय में दोनों से पूछताछ की।
जानकारी सूत्रों ने बताया कि जांच एजेंसी ने दिन के करीब 11 बजे कनिमोझी और दयालु अम्माल से पूछताछ शुरू की। उसकी यह पूछताछ करीब दो बजे समाप्त हुई।
समझा जाता है कि कलैगनार टीवी प्राइवेट लिमिटेड में करुणानिधि के परिवार की बड़ी हिस्सेदारी है और स्वान टेलीकॉम के प्रमोटर शाहिद उस्मान बलवा से सम्बंधित कम्पनी सिनेयुग फिल्मस ने इस टीवी चैनल को 200 करोड़ रुपये दिए।
करुणानिधि परिवार के नजदीकी और कलैगनार टीवी के निदेशक पी. अमरनाथ भी कार्यालय पहुंचे।
सीबीआई के अधिकारी इस मामले पर चुप्पी बनाए हुए हैं। उनका कहना है कि दिल्ली से आई टीम अपना काम कर रही है।
कलैगनार चैनल में कथित रूप से करुणानिधि के परिवार की बहुमत हिस्सेदारी है। माना जाता है कि टीवी चैनल में कनिमोझी की 20 प्रतिशत और दयालु अम्मा की 60 प्रतिशत हिस्सेदारी है। बाकी 20 प्रतिशत हिस्सेदारी चैनल के प्रबंध निदेशक शरत कुमार के पास है।
बलवा इस घोटाले के आरोपियों में से एक हैं और पूर्व केंद्रीय दूरसंचार मंत्री ए. राजा ने कथित रूप से स्वान टेलीकॉम को 2जी स्पेक्ट्रम आवंटन लाइसेंस के लिए अनुचित लाभ दिया था।
सीबीआई इस बात की जांच कर रही है कि बलवा द्वारा टीवी चैनल को दी गई रकम का 2जी स्पेक्ट्रम लाइसेंस प्राप्त करने से कोई सम्बंध था या नहीं। बलवा और राजा इस घोटाले में जेल भेजे गए चार लोगों में शामिल हैं।
सीबीआई एक महीने में दूसरी बार इस टीवी चैनल के कार्यालय पहुंची है। सीबीआई ने 18 फरवरी को चैनल के कार्यालय पर छापेमारी की थी और शरद कुमार सहित अन्य पदाधिकारियों से पूछताछ की थी।
गत 16 फरवरी को कलैगनार टीवी ने जांच एजेंसी को उसके दस्तावेजों की जांच करने के लिए स्वागत किया था।
शरद कुमार ने एक बयान में कहा, "सीबीआई अथवा आय कर विभाग जब भी चाहे वह हमारे दस्तावेजों की जांच कर सकता है। हमें किसी तरह की आपत्ति नहीं है।" इसके दो दिन बाद सीबीआई ने टीवी चैनल पर छापा मारा और तलाशी ली।
कुमार के अनुसार वर्ष 2009 में कलैगनार टीवी में हिस्सेदारी पाने के लिए सिनेयुग ने अग्रिम भुगतान के रूप में कुछ राशि दिया था।
कनिमोझी ने इसके पहले कहा था कि वह कलैगनार टीवी में निदेशक तक नहीं हैं और चैनल का कामकाज पूरी तरह से कुमार देखते हैं।
सीबीआई द्वार डीएमके सांसद कनिमोझी से की गई यह पूछताछ राजनीति रूप से मुश्किल समय में हुई है। डीएमके इस समय 13 अप्रैल से होने जा रहे विधानसभा चुनाव के लिए अपने प्रत्याशियों का चुनाव कर रही है।
इसके अलावा डीएमके चुनाव के लिए कांग्रेस, पीएमके और अन्य सहयोगी दलों के साथ सीटों के विभाजन के लिए भी बातचीत कर रही है।