14 दिसम्बर 2011
नई दिल्ली। केंद्रीय मंत्रिमंडल ने मंगलवार को प्रस्तावित राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा विधेयक पर बात न बनने पर इसे आगे के लिए टाल दिया। केंद्रीय कृषि मंत्री शरद पवार ने विधेयक को लागू करने में दी जाने वाली सब्सिडी का मसला उठाया था।
केंद्रीय मंत्रिमंडल की बैठक के बाद केंद्रीय खाद्य राज्य मंत्री के.वी. थॉमस ने आईएएनएस से कहा, "राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा विधेयक पर हुई चर्चा बेनतीजा रही। विधेयक को इस सत्र में पेश करने के लिए हम अपनी सर्वश्रेष्ठ कोशिश कर रहे हैं।"
सूत्रों ने बताया कि पवार ने खाद्य मंत्रालय को लिखे पत्र सब्सिडी को लेकर चिंता जताई है। मौजूदा समय में यह करीब 63000 करोड़ रुपये है जबकि विधेयक के लागू हो जाने पर यह सब्सिडी बढ़कर 1.2 लाख करोड़ रुपये हो जाएगी।
सूत्रों के मुताबिक उर्वरक की कीमतों और अनाजों के न्यूनतम समर्थन मूल्य से खाद्य सब्सिडी पर और बोझ बढ़ सकता है। उदाहरण के तौर पर विधेयक के मुताबिक गरीब परिवारों को दो रुपये प्रतिकिलो के हिसाब से गेहूं दिया जाना है, इससे सरकार के ऊपर प्रति किलो 17 रुपये का अतिरिक्त भार पड़ेगा।
सूत्रों ने बताया कि सरकार अब संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन (संप्रग) के सभी सहयोगियों को इसके लिए तैयार करने की कोशिश करेगी।