HindiLok Mobile edition
मुख्य पृष्ठ | राशिफल | खेल | बॉलीवुड

वीरभद्र के बचाव में आई कांग्रेस


26 जून 2012

नई दिल्ली। कांग्रेस ने मंगलवार को यह कहते हुए पार्टी नेता वीरभद्र सिंह का बचाव किया कि उनका दोष साबित नहीं हुआ है। वीरभद्र ने अपने खिलाफ भ्रष्टाचार के आरोपों को लेकर केंद्रीय मंत्रिमंडल से इस्तीफा दे दिया है। कांग्रेस ने आशा जाहिर की है कि हिमाचल प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री बेगुनाह साबित होंगे और अपने राजनीतिक प्रतिद्वंद्वियों का डटकर मुकाबला करेंगे। कांग्रेस के मीडिया प्रमुख जनार्दन द्विवेदी ने संवाददाताओं से कहा, "उन्होंने नैतिक जिम्मेदारी ली है.. मामला न्यायालय में है.. एक आरोप पत्र दाखिल हुआ है लेकिन उसका यह अर्थ नहीं होता कि उनका दोष साबित हो चुका है।"

द्विवेदी ने कहा, "मैं आशा करता हूं कि वह बेगुनाह साबित होंगे और अपने राजनीतिक प्रतिद्वंद्वियों का प्रभावी तरीके से मुकाबला करेंगे।"

वीरभद्र सिंह ने शिमला की एक अदालत द्वारा अपने और अपनी पत्नी के खिलाफ भ्रष्टाचार के एक मामले में आरोप तय किए जाने के बाद केंद्रीय सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम मंत्री के पद से इस्तीफा दे दिया। उन्होंने अपना इस्तीफा प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह को सौंपा।

अधिकारियों ने कहा है कि प्रधानमंत्री ने वीरभद्र का इस्तीफा स्वीकार कर लिया है।

शिमला की एक अदालत ने कथित भ्रष्टाचार के एक 23 वर्ष पुराने मामले में वीरभद्र सिंह और उनकी पत्नी प्रतिभा सिंह के खिलाफ सोमवार को आरोप तय किए।

वीरभद्र ने हिमाचल प्रदेश की भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) सरकार पर बदले की भावना से काम करने का आरोप लगाया है।

वीरभद्र ने कहा, "इसने पहले भी मेरे खिलाफ झूठे मामले दर्ज करने की कोशिश की है। अतीत में मैं बेगुनाह साबित हुआ हूं। इस बार भी मैं बेगुनाह साबित होऊंगा।"

वीरभद्र ने कहा कि वह आगामी विधानसभा चुनाव के लिए अपनी पार्टी को मजबूत बनाने हेतु अपने गृह राज्य हिमाचल प्रदेश लौटेंगे। विधानसभा चुनाव अगले वर्ष फरवरी में होना है।

उन्होंने कहा, "मैं जमीनी स्तर पर और अदालत में, दोनों जगह लड़ूंगा।"

वीरभद्र के खिलाफ यह मामला 1989 के एक आडियो कैसेट से जुड़ा हुआ है, जब वह राज्य के मुख्यमंत्री थे। कैसेट में उन्हें और उनकी पत्नी को कथितरूप से हिमाचल प्रदेश में निवेश की अनुमति देने के लिए रिश्वत मांगते सुना जाता है।


 


Home | About Us | Feedback | Privacy Policy | Terms