28 दिसम्बर 2012
मुम्बई। बॉलीवुड में खुद को स्थापित करना मुश्किल काम है। बावजूद इसके बॉलीवुड अभिनेता अनिल कपूर अपनी बेटियों सोनम और रिया के फिल्मोद्योग में अपनी जगह बनाने के फैसले पर गर्व महसूस करते हैं। अनिल ने कहा कि वह हमेशा अपनी बेटियों के फैसले का समर्थन करते हैं और उनका उत्साह बढ़ाते हैं।
अनिल ने एक साक्षात्कार के दौरान बताया, "फिल्मी दुनिया बहुत मुश्किल जगह है। एक अभिभावक होने के नाते आपको यह लग सकता है कि अच्छा होता बच्चे कोई आसान पेशा चुनते। यहां आपका सफल या असफल होना दर्शकों की पसंद पर निर्भर करता है। दूसरी जगहों पर कम से कम आपके पास जगह बदलने का विकल्प रहता है।"
उन्होंने कहा, "फिल्मों में काम करना एक बड़ी चुनौती है। मेरी बेटियों ने इसी पेशे को चुना है तो मैं उनका उत्साह बढ़ाता हूं। मैंने कभी भी उनको हतोत्साहित नहीं किया।"
सोनम ने अभिनेत्री के रूप में बॉलीवुड में करियर की शुरुआत की जबकि रिया फैशन डिजायनर होने के साथ साथ फिल्म 'वेकअप सिड' की सहायक निर्देशक रही हैं। 2010 में रिया की निर्देशित फिल्म 'आयशा' आई थी।
कम उम्र में ही काम शुरू करने के बावजूद सोनम और रिया सामान्य लड़कियों की तरह ही काफी मस्ती भी करती हैं।
अनिल ने कहा, "किसी और चीज में समय गंवाने के बजाय दोनों ने काम करना शुरू कर दिया था। लेकिन इसका मतलब यह नहीं है कि उन दोनों ने दूसरे बच्चों की तरह मौज नहीं की। उन्होंने सामान्य लड़कियों की तरह जीवन जिया है, बस वे दोनों काम के प्रति ज्यादा गम्भीर रही हैं।"
वैसे सोनम कहती हैं कि अनिल कपूर की बेटी होने का फायदा उन्हें मिला है। लेकिन अनिल का कहना है, "यह उसकी परवरिश है कि वह खुद को मेरी बेटी होने के लिए गौरवान्वित महसूस करती है। लेकिन मैं पूरे दावे से कह सकता हूं कि उसने जो भी किया और कर रही है, वह उसकी खुद की मेहनत है।"