14 फरवरी 2013
नई दिल्ली। बॉलीवुड अभिनेता रणदीप हुड्डा के लिए सफलता की राह आसान नहीं रही है। 2001 में 'मानसून वेडिंग' में अभिनय करने के बाद अगली फिल्म के लिए उन्हें चार साल का इंतजार करना पड़ा। लेकिन अब, जब उन्होंने बॉलीवुड में अपना स्थान बना लिया है, वह अपनी तारीफ नहीं करते। रणदीप ने कहा, "इस वक्त सब कुछ अच्छा लग रहा है, लेकिन पहले स्थिति ऐसी बिल्कुल नहीं थी। यह बिल्कुल निराशाजनक और खराब थी। इस वक्त सफलता मेरे करियर के एक कदम की तरह है। मुझे नहीं लगता है कि मैं अभी अपने लक्ष्य तक पहुंचा हूं।"
36 वर्षीय रणदीप का कहना है कि वह उत्साह और निराशा के बीच संतुलन बरकरार रखते हैं।
मिलन लुथारिया की फिल्म 'वंस अपॉन ए टाइम इन मुम्बई' रणदीप के करियर की बड़ी सफलता साबित हुई है जिसमें उनके अभिनय को काफी सराहा गया था।
इसके अलावा 'साहब, बीवी और गैंग्स्टर', 'जन्नत', 'जिस्म 2' और 'हीरोइन' ने भी उनके करियर को नई ऊंचाई दी है जबकि फिल्म 'कॉकटेल' में की गई उनकी अतिथि भूमिका को भी पसंद किया गया था।
इन सबके बावजूद उनकी योजना कुछ बड़ा करने की है।
उन्होंने कहा, "मैं कई सारी चीजें करना चाहता हूं। मेरे सपने बड़े हैं। मैं चाहता हूं कि भारत ही नहीं बल्कि पूरे विश्व में लोग मेरे काम को देखना चाहें और सराहना करें।"
इस बीच, रणदीप अपनी अगली फिल्म 'मर्डर 3' के प्रदर्शन का इंतजार कर रहे हैं जिसका निर्देशन विशेष भट्ट ने किया है।