नई दिल्ली, 17 अगस्त
प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने सीमा पार आतंकवाद के प्रमुख खतरा बने रहने पर जोर देते हुए सोमवार को कहा कि सरकार को जानकारी है कि पाकिस्तान में मौजूद आतंकवादी गुट फिर से भारत पर हमले की फिराक में हैं।
आंतरिक सुरक्षा के मामले पर मुख्यमंत्रियों की बैठक को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा, "सीमा-पार आतंकवाद हमेशा से खतरा बना हुआ है। पिछले साल नवंबर में हुए मुंबई आतंकी हमले के बाद हमें सतर्कता बढ़ाने की जरूरत है। हमारे पास इस बात की पुख्ता जानकारी है कि पाकिस्तान में मौजूद आतंकवादी देश पर बड़े हमले की फिराक में हैं।"
उन्होंने कहा कि मौजूदा दौर में आतंकवादियों के खिलाफ कार्रवाई जम्मू एवं कश्मीर तथा देश के अन्य हिस्सों के दायरे से बाहर फैल चुकी है। हमें ज्यादा अत्याधुनिक बनना होगा और क्षमताएं बढ़ानी होंगी। हमें समुद्री सीमाओं की रखवाली भी अपनी जमीनी सीमाओं की ही तरह करनी होगी।
प्रधानमंत्री ने कहा कि राज्य स्तर पर त्वरित प्रतिक्रिया दलों की संचालन संबंधी तैयारी तथा खुफिया प्रकोष्ठ की विशेष शाखाओं को मजबूती प्रदान करने की जरूरत है।
उन्होंने सभी राज्यों के मुख्यमंत्रियों से देश भर में आतंकवाद से जुड़ी घटनाओं से निपटने के लिए बनाई गई नवगठित राष्ट्रीय जांच एजेंसी को सहयोग देने की अपील की।
मुंबई, चेन्नई, हैदराबाद और कोलकाता में राष्ट्रीय सुरक्षा गार्ड्स एनएसजी के चार क्षेत्रीय केंद्र खोले गए हैं।
इस बैठक में मुख्यमंत्रियों द्वारा नक्सलियों को हराने की ठोस रणनीति, तटीय सुरक्षा, सीमा प्रबंधन और पुलिस बलों के आधुनकीकरण पर चर्चा किए जाने की भी संभावना है।
(IANS)