2 नवंबर 2012
नई दिल्ली। बॉलीवुड अभिनेता ओम पुरी का कहना है कि फिल्म 'जाने भी दो यारों' वक्त की कसौटी पर खरी उतरती है। उन्होंने बताया कि उन्हें इस बात का अंदाजा नहीं था कि यह फिल्म 29 वर्षो बाद दोबारा से प्रदर्शित होगी।
ओम पुरी ने फिल्म से जुड़ी यादों को साझा करते हुए बताया कि शूटिंग के वक्त पूरी टीम बिना गद्दे और तकिए के सोती थी।
वर्ष 1983 में प्रदर्शित इस फिल्म में ओम पुरी ने हमेशा नशे में रहने वाले आहूजा नाम के बिल्डर की भूमिका निभाई थी। उन्होंने कहा कि मैंने कभी भी यह कल्पना नहीं की थी कि यह फिल्म क्लासिक बन जाएगी।
उन्होंने कहा, "हम अलीबाग में फिल्म की शूटिंग कर रहे थे। उस वक्त हमारे पास बहुत कम पैसा था और हम बहुत अधिक खर्च नहीं उठा सकते थे।"
62 वर्षीय अभिनेता ने आईएएनएस को बताया, "मैं मानता हूं कि फिल्म में व्यंग्यात्मक हास्य और समाजिक व्यंग्य है, जो इस वक्त देश की स्थितियों पर दर्शकों का ध्यान ले जाएगा। फिल्म वक्त की कसौटी पर खरी उतरती है क्योंकि इसमें अर्थपूर्ण हास्य है।"
ओम पुरी ने यह भी कहा कि जो लोग इस फिल्म को पूर्व में काफी बार देख चुके हैं, इस बार उन्हें भी एक अलग अनुभव होगा।
उन्होंने कहा, "यह सुनना बहुत सुखद है कि फिल्म दोबारा से प्रदर्शित हो रही है। जो लोग इसे पूर्व में कई बार देख चुके हैं, मैं समझता हूं कि उन्हें भी सिनेमाघर में इस फिल्म को देखने का अलग अनुभव होगा।"
फिल्म के अन्य कलाकारों में पंकज कपूर, सतीश शाह, भक्ति बर्वे और नीना गुप्ता शामिल हैं। फिल्म इस शुक्रवार को प्रदर्शित होगी।
Know when the festival of colors, Holi, is being observed in 2020 and read its mythological significance. Find out Holi puja muhurat and rituals to follow.
मकर संक्रांति 2020 में 15 जनवरी को पूरे भारत वर्ष में मनाया जाएगा। जानें इस त्योहार का धार्मिक महत्व, मान्यताएं और इसे मनाने का तरीका।